Mon. Dec 23rd, 2024

पूर्वोत्तर के भाजपा सांसद सीमा विवाद को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की शरण में

-असम और मिजोरम सीमा पर जमीन विवाद को लेकर हुए तनाव के कारण हुई गोलीबारी में असम पुलिस के छह जवानों की मौत हो गई और एक पुलिस अधीक्षक समेत 50 अन्य घायल हो गए। झड़प के बाद दोनों राज्यों के पुलिस बल सीमा पर तैनात हैं। हालांकि, अधिकारियों ने बुधवार को बताया कि शांति बनाए रखने के मकसद पुलिस बलों को सीमा से 100 मीटर अंदर वापस लिया गया है।

असम-मिजोरम सीमा पर 26 जुलाई को हुई हिंसक झड़प के बाद से तनाव जारी है। दोनों राज्यों के बीच विवाद सुलझाने के लिए केंद्र सरकार भी स्थिति पर निगरानी कर रही है। इसी क्रम में आज यानी सोमवार को पूर्वोत्तर के भाजपा सांसदों ने प्रधानमंत्री मोदी से मुलाकात की और सीमा विवाद को लेकर ज्ञापन सौंपा है। ज्ञापन में सांसदों ने कांग्रेस की राजनीति पर सवाल उठाए हैं।

गौरतलब है कि दोनों राज्यों में हिंसा के बाद केंद्र सरकार भी एक्शन मोड में है। इसके तहत सरकार अब उपग्रह से ली गई तस्वीरों की मदद लेगी। इन राज्यों के बीच अक्सर सीमा विवाद उठते रहते हैं। कई बार ये हिंसक रूप भी ले लेते हैं, जैसा कि हाल ही में असम व मिजोरम के बीच हुआ था, जिसमें छह पुलिसकर्मी शहीद हो गए। केंद्र सरकार के दो वरिष्ठ अधिकारियों ने बताया कि यह काम नार्थ ईस्टर्न स्पेस एप्लीकेशन सेंटर (एनईएसएसी) को सौंपा गया है। यह अंतरिक्ष विभाग व उत्तर पूर्वी परिषद का साझा उपक्रम है। एनईएसएसी, अंतरिक्ष प्रौद्योगिकी की मदद से उत्तर पूर्वी क्षेत्रों के विकास को बढ़ावा देने का काम करता है।

विवाद के निपटारे को अमित शाह ने दिया था सुझाव

सैटेलाइट इमेजिंग के माध्यम से सीमा विवाद के निपटारे का विचार कुछ माह पहले केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने बैठक में दिया था। शाह ने सीमा विवाद व जंगलों के निर्धारण के काम में एनईएसएसी के नक्शों की मदद लेने का सुझाव दिया था। बता दें, मेघालय की राजधानी शिलांग स्थित एनईएसएसी क्षेत्र में बाढ़ नियंत्रण के लिए अंतरिक्ष प्रौद्योगिकी का इस्तेमाल पहले से कर रही है।

 

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *